Netraheeno ke liye Roshni ki Kiran
Date : 01-01-2008नेत्रहीनों के लिए रौशनी की किरण – आरती बूबना
बु झे हुए चिरगों में रोशनी जगाने वाली आरती बूबना स्वयं नेत्रहीनता से अभीशिप्ट है | वे मुंबई में वौइस् विज़न के नाम से नेत्रहीनों के लिए कंप्यूटर परिक्षण केंद्र चलाती हे | जन्म से ही आँखों में मोतियाबिंदु से ग्रसित आरती को जब देश के मशहूर नेत्र –विशेषज्ञ भी ज्योति प्रदान नहीं कर पाए तब निराश न होकर अपने परिवार के सहयोग से पहले बी.कॉम किया , फिर प्रशासन प्रबंध में डिप्लोमा किया | स्वावलम्बन की और बढ़ते आरती के कदमों को उसके दृढ़ संकल्प और आत्मविश्वास ने हर पल साथ दिया और उसने विज़न स्क्रीन रीडिंग सॉफ्टवेयर सीखा | NIIT में प्रवेश नहीं मिलने पर अपने पिता व भाई से सहयोग से उसने वौइस् विज़न के नाम से कंप्यूटर पशिक्षण केंद्र खोला | ताकि नेत्रहीन भी इंटरनेट के जरिये अपने क्षितिज का विस्तार कर पायें| अपने देश की यह प्रथम संस्था हे जिससे नेत्र वंचित लोग इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी के पथ पर चलने का साहस कर पायें|
इस संस्थान में ३५ छात्र परिक्षित हुए हे | जन्मे से आशीष गोयल को विश्व प्रसिद्ध Wharton School of Management में प्रवेश मिला , दिव्या बिजुर ने फिजियोथेरेपी में मास्टर्स के साथ एक गानों की कैसेट भी बनवाई , एक छात्र IBM में सीनियर HR एग्जीक्यूटिव है |
आरती को NAB (नेशनल एसोसिएशन ऑफ़ ब्लाइंड की और से बेस्ट सेल्फ एम्प्लॉयड ब्लाइंड) का पुरस्कार दिया गया है | एशिया के सर्वश्रेष्ठ नेत्र हॉस्पिटल शंकर नेत्रालय में प्रेजेंटेशन के लिए उन्हें आमंत्रित किया जाता है|
मारवाड़ी समाज में एक नेत्रहीन लड़की का जनम एक अभिशाप हो सकता था , लेकिन अपने आत्मविश्वास और दृढ़संकल्प से आरती अपने परिवार और समाज के लिए गौरव बन गई |